Headlines

हाथरस: बाबा के पाखंडी सत्संग के दौरान हुए हादसे की जांच रिपोर्ट आई सामने

Spread the love
हाथरस: बाबा के पाखंडी सत्संग के दौरान हुए हादसे के बाद जांच रिपोर्ट सामने आ गई है। जांच रिपोर्ट में एसडीएम ने आयोजकों को ज़िम्मेदार ठहराया है। उधर, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को हादसे वाली जगह पहुंचकर घटना का जायजा लिया और अस्पताल में घायलों का हालचाल जाना।

योगी ने जाना हालचाल

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाथरस जिला अस्पताल का दौरा कर भर्ती मरीजों का हालचाल जाना। मुख्यमंत्री ने अस्पताल प्रशासन को हर संभव सहायता देने के निर्देश दिए और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। मुख्यमंत्री ने घायलों और उनके परिवार वालों से भी बातचीत की और उन्हें हर संभव मदद का आश्वासन दिया।

जांच रिपोर्ट में आयोजकों को ठहराया ज़िम्मेदार

प्रारंभिक जांच में पता चला है कि इस सत्संग के आयोजकों ने तय भीड़ से तीन गुना अधिक भीड़ बुला ली थी, जिसके चलते यह हादसा हुआ। एसडीएम की रिपोर्ट में साफ तौर पर बताया गया है कि आयोजकों ने सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए थे। आयोजकों ने प्रशासन से बिना अनुमति के इतनी बड़ी भीड़ को इकट्ठा किया, जिसके चलते भगदड़ मच गई और कई लोग घायल हो गए।

पुलिस ने आयोजकों के खिलाफ किया मामला दर्ज़

पुलिस ने आयोजकों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और घटना की विस्तृत जांच की जा रही है। पुलिस का कहना है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। प्रशासन की ओर से भीड़ नियंत्रण और सुरक्षा के उपायों को लेकर गाइडलाइन्स तैयार की जा रही हैं ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचा जा सके।

समाज को मिला संदेश

यह घटना समाज को यह संदेश देती है कि हमें पाखंडी बाबाओं और उनके झूठे दावों से सावधान रहना चाहिए। ऐसे बाबा, जो बिना किसी प्रमाण और सत्यता के लोगों को अपनी ओर आकर्षित करते हैं, समाज के लिए हानिकारक हो सकते हैं। प्रशासन और समाज को मिलकर ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न हों।

मुख्यमंत्री ने दिए निर्देश

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी इस घटना के बाद सभी जिलों के अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे अपने क्षेत्र में इस तरह के आयोजनों पर कड़ी निगरानी रखें और बिना अनुमति के किसी भी बड़े आयोजन की इजाजत न दें। मुख्यमंत्री ने कहा कि जनता की सुरक्षा सरकार की प्राथमिकता है और इसके लिए सभी संभव कदम उठाए जाएंगे। इस हादसे के बाद सरकार और प्रशासन को एक बार फिर से अपने सुरक्षा उपायों पर विचार करने की आवश्यकता है। साथ ही, समाज को भी इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि वे किसी भी तरह के अंधविश्वास और पाखंड से बचें और सत्संग या अन्य धार्मिक आयोजनों में भाग लेने से पहले उनकी सच्चाई और सुरक्षा के बारे में पूरी जानकारी प्राप्त करें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *